देश की जीडीपी में तेज़ गिरावट आई तो उसका आम इंसान की ज़िंदगी पर क्या फ़र्क पड़ेगा? भारत को फ़ाइव ट्रिलियन डॉलर यानी पाँच लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने के सपने का क्या होगा और इस हालत से उबरने का रास्ता क्या है?
कोरोना से लाखों के बेरोज़गार होने का डर था। लेकिन सिर्फ़ एक महीने में बारह करोड़ से ज़्यादा लोग बेरोज़गार हो चुके हैं। और याद रखिए, ख़तरा अभी टला नहीं है।
देश के 330 ज़िलों में कोरोना का संक्रमण मिला है लेकिन पूरे 727 ज़िलों में लॉकडाउन लागू है। इंटरनेशनल लेबर ऑर्गनाइज़ेशन की रिपोर्ट के मुताबिक़ अनोपचारिक क्षेत्र मे 40 करोड़ लोग लॉकडाउन के चलते बेरोज़गार हो सकते हैं।भूख भी महामारी न बन जाए इसलिए पूरे देश को घर में बंद करने की जगह लॉकडाउन बढ़ाने की नई नीति ज़रूरी है। देखिए शैलेश की रिपोर्ट।