बीजेपी ने कथित तौर पर तृणमूल प्रमुख ममता बनर्जी का ऑडियो जारी किया और फिर जवाब में तृणमूल की तरफ़ से कथित तौर पर बीजेपी नेताओं के बीच बातचीत का ऑडियो टेप जारी किया गया।
छिटपुट हिंसा, आरोप-प्रत्यारोप, इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन में गड़बड़ी के आरोपों और घात-प्रतिघात के बीच शनिवार को पश्चिम बंगाल में भारी मतदान हुआ। पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2021 के आठ चरणों में फैले चुनाव के पहले चरण में 30 सीटों के लिए मतदान हुआ।
बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस के बीच चल रही चुनावी लड़ाई ने पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव को एक चुनावी जंग में तब्दील कर दिया है। तृणमूल कांग्रेस और बीजेपी में से किसका पलड़ा भारी?
आठ चरणों में बँटे पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2021 के पहले चरण के लिए प्रचार कार्य गुरुवार की शाम खत्म हो गया। यह सवाल उठना स्वाभाविक है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमित शाह के बल पर इन चरण की 30 सीटों में से कितने पर बीजेपी क़ब्ज़ा कर पाएगी।
ममता बनर्जी को बरमूडा पहनने की सलाह देना पश्चिम बंगाल बीजेपी अध्यक्ष दिलीप घोष को बहुत ही महँगा पड़ रहा है। तृणमूल कांग्रेस ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया जताई है और उन्हें 'विकृत मानसिकता वाला बंदर' तक कह दिया है।
कुछ दिन पहले तक ममता बनर्जी के नज़दीकी रहे शुभेंदु अधिकारी के पिता और तृणमूल कांग्रेस सांसद शिशिर अधिकारी ने रविवार को पार्टी छोड़ दी। उन्होंने पूर्व मेदिनीपुर में बीजेपी की एक सभा में गृह मंत्री अमित शाह की मौजूदगी में टीएमसी छोड़ने का ऐलान कर दिया।
मातुआ एक हिन्दू वैष्णव पंथ है, जिसकी स्थापना 1860 में हरिचाँद ठाकुर ने की थी। मातुआ पंथ में यकीन करने वालों का कहना है कि हरिचाँद ठाकुर विष्णु के अवतार थे, जिन्हें ईश्वर ने इस पृथ्वी पर धर्म फैलाने के लिए भेजा था।
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2021 के ठीक पहले महिश्या समुदाय को आरक्षण देने का ऐलान कर राज्य के चुनावी गणित में जाति को महत्वपूर्ण समीकरण के रूप में इस्तेमाल करने की रणनीति अपनाई है।
पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव के बीच केंद्रीय जांच एजेंसियों की ओर से पहले टीएमसी के नेताओं को समन भेजे गए और अब ममता सरकार के छह अफ़सरों को पूछताछ के लिए बुलाया गया है।
पहचान की राजनीति को नया आयाम देने और हिन्दुत्व को अपना राजनीतिक औजार बनाने वाली भारतीय जनता पार्टी ने पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2021 के पहले इसे नई ऊँचाई देने का तरीका अपना लिया है।
पश्चिम बंगाल बीजेपी को तब शर्मिंदगी जैसी स्थिति से गुजरनी पड़ी जब बीजेपी उम्मीदवार के रूप में घोषित किए गए दो लोगों ने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया। दोनों में से एक सिखा मित्रा ने तो कह दिया कि उनसे सहमति नहीं ली गई।
पश्चिम बंगाल बीजेपी अध्यक्ष दिलीप घोष विधानसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। राज्य बीजेपी ने गुरुवार को 148 उम्मीदवारों की सूची जारी की है, उसमें उनका नाम नहीं है।