loader

लोकसभा में रफ़ाल वाले ऑडियो क्लिप से राहुल का मोदी पर हमला

रफ़ाल के ज़िक्र वाली ऑडियो क्लिप पर लोकसभा में भारी हंगामा हुआ। राहुल गाँधी ने ऑडियो क्लिप को लेकर प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साधा। सरकार की ओर से अरुण जेटली ने मोर्चा संभाला और इस क्लिप को फ़र्ज़ी बताया। सदन में राहुल गाँधी और अरुण जेटली के बीच तीखी बहस हुई। इस बीच सदन में भारी शोर-शराबा होता रहा। नारेबाजी के बीच विपक्षी सांसदों ने कागज के जहाज बनाकर उड़ाए।

लोकसभा में बहस के दौरान राहुल ने कहा कि इंटरव्यू में मोदी कहते हैं कि उन पर कोई भी आरोप नहीं है, तो आज मीडिया में गोवा के एक मंत्री की ऑडियो रिकॉर्डिंग सामने आई है। राहुल ने सदन में ऑडियो को चलाने की माँग भी की। लेकिन जेटली ने इसका विरोध किया।

कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि मुझे पता है कि सत्तापक्ष डरा हुआ है इसलिए लोकसभा में टेप नहीं चलाने दिया जा रहा है। इस पर जेटली ने पलटवार किया कि राहुल झूठ बोल रहे हैं इसलिए टेप की पुष्टि नहीं कर रहे हैं।

इस बीच स्पीकर ने कहा कि राहुल जी आप इस तरह के आरोप नहीं लगा सकते हैं और यह सब कार्यवाही की रिकॉर्डिंग में नहीं जाएगा। स्पीकर ने साफ़ तौर पर कहा कि संसद में आप टेप नहीं चला सकते। अगर उसका लिखित बयान पढ़ना हो तो भी आपको उसकी सत्यता की पुष्टि करनी होगी। आखिर में स्पीकर ने राहुल को टेप चलाने की अनुमति नहीं दी।

  • राहुल गाँधी ने कहा, ‘पहली चीज़ तो यह है कि प्रक्रिया ग़लत है। दूसरी यह कि क़ीमतें ज़्यादा हैं। तीसरी और सबसे रोचक है संरक्षण। वायु सेना के वरिष्ठ अधिकारियों की लंबी वार्ता के बाद सेना 126 विमान ख़रीदना चाहती थी तो बदलाव कर इसे 36 कैसे कर दिया गया?’
अपने भाषण में राहुल ने कहा कि पीएम मोदी ने फ़्रांस जाकर वहाँ के राष्ट्रपति से मिलकर उन्होंने रफ़ाल सौदा बदल दिया। कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि उस समय के रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर ने ख़ुद कहा था कि मुझे इस डील के बारे में कोई आइडिया नहीं है। राहुल ने कहा, मेरा सवाल है कि क्या बिना वायुसेना से बात किए रफ़ाल का सौदा बदला गया? उन्होंने यह भी सवाल किया कि अभी तक एक भी रफ़ाल विमान क्यों नहीं आया?
राहुल ने जहाँ एए (अनिल अंबानी) का नाम लेकर प्रधानमंत्री पर निशाना साधा वहीं जेटली ने क्यू (क्वात्रोकी) का नाम लेकर तंज कसा।

बता दें कि रफ़ाल डील में अनिल अंबानी की कंपनी को ऑफ़सेट पार्टनर बनाया गया है। इटली के बिजनसमैन ओत्तावियो क्वात्रोकी का नाम बोफ़ोर्स तोप सौदे से जुड़ा रहा है और इसमें गाँधी परिवार का नाम भी आया था। 

जेटली का जवाब

जेटली ने कहा कि कुछ लोग सच्चाई से नफ़रत करते हैं। रफ़ाल पर राहुल गाँधी 6 महीने से लगातार झूठ बोल रहे हैं। वह गोवा के सीएम और मंत्री को झूठा कह चुके हैं। उन्होंने कहा कि यह देश का दुर्भाग्य है कि देश की सबसे पुरानी कांग्रेस पार्टी जिसे महान लोगों ने हेड किया था उसके चीफ़ आज ऐसे व्यक्ति हैं जिन्हें लड़ाकू विमान की सामान्य समझ नहीं है। जेटली ने साफ़ कहा कि फ़्रांस की सरकार ने अपने पूर्व राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद के बयान को ख़ारिज कर दिया है।

इंटरव्यू में मोदी ने क्या दी थी सफ़ाई?

प्रधानमंत्री ने मंगलवार को एएनआई को दिए इंटरव्यू में कहा था कि मुझ पर व्यक्तिगत आरोप नहीं हैं। प्रधानमंत्री पर आरोपों के विपक्ष का जवाब नहीं दिए जाने के सवाल पर मोदी ने कहा था, ‘सांसद में मैंने विस्तार से इस पर जवाब दिया है। अपने भाषणों में मैंने पूरी बात रख दी है। सुप्रीम कोर्ट ने अपना फ़ैसला दे दिया। फ़्रांस के राष्ट्रपति ने बयान दे दिया। जितने आरोप लग रहे हैं लगने दीजिए मैं सेना की बेहतरी के लिए अपना काम करता रहा रहूँगा। डिफ़ेंस डील में दलालों की क्या ज़रूरत है। रफ़ाल पर पत्थर फेंक कर भाग जाते हैं कांग्रेस वाले।’
सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी

अपनी राय बतायें

रफ़ाल से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें