अन्ना हज़ारे के आंदोलन में लोकपाल क़ानून जिस तरह बना उससे सरकार को बिना चर्चा क़ानून बनाने के रास्ते मिले। बहुमत से क़ानून बन जाता है। विचार-विमर्श की क्या ज़रूरत?
Satya Hindi News Bulletin। सत्य हिंदी समाचार बुलेटिन। शिवसेना : 7 सालों में जनता बेजार हुई,अन्ना ने करवट भी नहीं बदली । सद्भावना दिवस मना रहे किसान, दिनभर रखेंगे उपवास
केंद्र सरकार के कृषि क़ानूनों के ख़िलाफ़ दिल्ली के बॉर्डर्स पर धरना दे रहे किसानों को देश में राजनीतिक दलों, गायकों, खिलाड़ियों, आम लोगों का जोरदार समर्थन मिल रहा है।