भारत बायोटेक की जिस कोवैक्सीन को डब्ल्यूएचओ ने वयस्कों के लिए अभी तक मंजूरी नहीं दी है उसके टीके को भारत में विशेषज्ञ पैनल ने 2 से 18 वर्ष की उम्र के बच्चों को भी लगाने की सिफ़ारिश क्यों की?
भारत बायोटेक से कोवैक्सीन सौदे में भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद अब वहाँ के सुप्रीम कोर्ट ने राष्ट्रपति जईर बोसोनारो के ख़िलाफ़ जाँच को हरी झंडी दी है। गंभीर आरोप लगने के बाद ब्राज़ील ने हाल ही इस सौदे को निलंबित कर दिया है।
कोविशील्ड और कोवैक्सीन को यूरोप में यात्रा के लिए कोरोना प्रतिबंधों से छूट के लिए शामिल नहीं किया जाता है तो भारत भी यूरोपीय देशों के नागरिकों को भारत में मैनडेटरी यानी अनिवार्य क्वारेंटीन से छूट नहीं देगा।
कोवैक्सीन की खरीद में ब्राज़ील में लग रहे भ्रष्टाचार के आरोपों को भारत बायोटेक ने खारिज किया है। इसने बयान जारी कर कहा है कि इस सौदे में कुछ भी गड़बड़ी नहीं हुई है।
भारत बायोटेक की जिस कोवैक्सीन को जनवरी में ही आपात इस्तेमाल की मंजूरी मिल गई थी उसके तीसरे चरण के ट्रायल के आँकड़े अब आ गए हैं। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार वैक्सीन तीसरे चरण के ट्रायल में 77.8 फ़ीसदी प्रभावी है।
भारत बायोटेक की कोवैक्सीन को अमेरिका के फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन यानी एफ़डीए से झटका लगा है। इसने अमेरिका में कोवैक्सीन को आपात इस्तेमाल की मंजूरी देने से इनकार कर दिया है और कहा है कि वह बीएलए का रास्ता अपनाए।
भारत बायोटेक के जिस टीके कोवैक्सीन को जनवरी में ही आपात इस्तेमाल की मंजूरी मिल गई थी उसके तीसरे चरण के ट्रायल के आँकड़े जुलाई में आएँगे। ऐसा भारत बायोटेक ने ही कहा है। यानी तीसरे चरण के अंतिम परिणाम जुलाई में प्रकाशित होंगे।
वैक्सीन की कमी के बीच दिल्ली सरकार ने कहा है कि फ़िलहाल कोवैक्सीन 18-44 उम्र के लोगों को पहली खुराक नहीं दी जाएगी। इसने कहा है कि जिन्होंने पहली खुराक ले ली है और दूसरी खुराक का समय पूरा हो गया है, उन्हें ही यह दी जाएगी।