दंगे और हिंसा के शिकार बच्चे और महिलाएँ ज़्यादा होती हैं। इसका उनके मानसिक स्वास्थ्य पर तो भयावह असर होता है। यह हिंसा में मौत और उन जख्मों से कम पीड़ादायक नहीं है। कई शोधों में ऐसी बातें सामने आई भी हैं। तो क्या हैं वे कारण जिनसे उनपर असर पड़ता है? और किस तरह के होते हैं ये असर? देखिए मानसिक स्वास्थ्य की जानकार पूजा प्रियंवदा की विशेष रिपोर्ट।