छत्तीसगढ़ में बीजेपी ने जनता के मुद्दों पर ध्यान देने के बजाय मुफ़्त चीजें बाँटने पर ध्यान दिया। इसके अलावा पार्टी की भावनात्मक मुद्दों के सहारे जीतने की कोशिश भी फ़ेल हो गई।
मध्य प्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़, तेलंगाना और मिज़ोरम के नतीजों के लिए मतगणना 8 बजे से शुरू होगी। इन राज्यों के नतीजों को लोकसभा चुनाव 2019 के लिए बेहद अहम माना जा रहा है।
न तो अजीत जोगी की पैंतरेबाज़ी काम आई और न ही बीजेपी एंटी-इन्कम्बेंसी से पार पा पाई। बिना चेहरे के ही कांग्रेस ने नई तसवीर पेश कर दी। बल्कि यूँ कहें तो बदल डाली।
छत्तीसगढ़ में कांग्रेस में मुख्यमंत्री की कुर्सी को लेकर घमासान मचा है। सोनिया गाँधी के बर्थडे के बहाने तमाम दावेदारों ने पार्टी आलाकमान के सामने शक्ति परीक्षण किया।
पीएम मोदी के इस बार सिर्फ़ चार सभाओं को संबोधित करने से राज्य की राजनीति में कई तरह की चर्चाएं हैं। विपक्षी नेताओं के अनुसार पीएम मोदी का जादू अब ख़त्म हो चुका है।
छत्तीसगढ़ की राजनीति में इन दिनों जोगी परिवार की जबर्दस्त चर्चा है। इसकी बड़ी वजह हैं ऋचा जोगी। वे हाल ही में बीएसपी में शामिल हुई हैं। ऋचा ने एमबीए किया है।
छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव से पहले ऋचा जोगी की राजनीति में एंट्री से खलबली क्यों मची है? अजीत जोगी की बहू या फ़िर उनकी पॉलिटिकल इंजीनियरिंग की वजह से?
छत्तीसगढ़ में कांग्रेस जल्द ही संकल्प यात्रा निकालेगी। इससे पार्टी राज्य में भाजपा के ख़िलाफ अभियान छेड़ेगी और अपने कार्यकर्ताओं में एकजुटता का संदेश देना चाहती है। बता दें कि राज्य में कांग्रेस में मुख्यमंत्री पद की दावेदारी को लेकर आंतरिक कलह की रिपोर्टें आती रही हैं।