केरल सरकार ने चेतावनी देते हुए कहा है कि ओणम की वजह से कोरोना वायरस का संक्रमण बढ़ सकता है। केंद्र सरकार ने भी दूसरे राज्यों को कोरोना बढ़ने के प्रति आगाह किया है।
इंडियन इंस्टीच्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी, कानपुर, ने मैथमैटिकल मॉडल का अध्ययन कर अनुमान लगाया है कि यदि 15 जुलाई तक कोरोना लॉकडाउन ख़त्म हो गया तो सितंबर-अक्टूबर में तीसरी लहर आ सकती है।
Satya Hindi news Bulletin। सत्य हिंदी समाचार बुलेटिन। हाईकोर्ट ने कहा - कोरोना की सीमा में घुसकर करो सर्जिकल स्ट्राइक। बंगाल बीजेपी में बग़ावत, बैठक से दूर रहे उपाध्यक्ष मुकुल राय। देखिए दिनभर की ख़बरें-
दुनिया के अलग-अलग देशों में बैठे अनजान लोगों ने इंटरनेट के महासागर को मथ कर जो साक्ष्य जुटाए हैं उनसे इस आशंका को बल मिला है कि चीन स्थित वुहान इंस्टीच्यूट ऑफ वायरोलॉजी से कोरोना वायरस निकला है।
Satya Hindi news Bulletin। सत्य हिंदी समाचार बुलेटिन। ट्रंप बोले, अब सभी मान रहे कि लैब लीक थ्योरी पर मैं सही था। पीएम मोदी की बैठक से ‘किनारा’ नहीं किया, आलापन का केंद्र को जवाब। देखिए सुबह तक की ख़बरें -
क्या वाकई कोरोना वायरस प्राकृतिक जीव नहीं है और इसे चीन के शहर ऊहान (वुहान) स्थित सरकारी प्रयोगशाला में बनाया गया था? और क्या इसका पहला शिकार उस प्रयोगशाला में काम कर रहे एक वैज्ञानिक की पत्नी थी?
Satya Hindi News Bulletin। सत्य हिंदी समाचार बुलेटिन। हेमंत सोरेन : केन्द्र ने हमें अपने हाल पर छोड़ा न रखा है। कोरोना: कमलनाथ के ख़िलाफ़ FIR, अफवाह फैलाने का आरोप। देखिए सुबह तक की ख़बरें -
कोरोना वायरस के एक किस्म को 'सिंगापुर वैरिएंट' कहने पर भारी विवाद खड़ा हो गया। जहां सिंगापुर सरकार ने इस पर चिंता जताई है, विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा है कि दिल्ली के मुख्यमंत्री भारत सरकार का प्रतिनिधित्व नहीं करते।
यह क्या हो रहा है? क्यों हो रहा है? चारो तरफ़ मौत का मंजर क्यों है? लग रहा है प्रलय की आहट तेज़ हो रही है।असमय जाते प्रियजन। अशुभ सिलसिला टूट ही नहीं रहा है। चौतरफा अवसाद। हताशा। इसके पीछे कौन है?
बिहार के बक्सर में गंगा नदी में एक पुल के नीचे आज दूसरे दिन भी कई शव तैरते हुए पाए गए। एक दिन पहले ही उस क्षेत्र में क़रीब 40-45 शव मिलने से हड़कंप मच गया था। अधिकारियों के अनुसार, अब तक कुल 71 शव मिले हैं।
बिहार के बक्सर ज़िला स्थित चौसा कस्बे में उस समय सनसनी फैल गई जब देखते ही देखते उसके महादेवा घाट पर लाशों का अंबार लग गया। सुबह-सुबह कम से कम 40-45 लाशें गंगा नदी में बहती हुई महादेवा घाट पर लग गईं।