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फ़ोटो साभार: ट्विटर/वीडियो ग्रैब

पाकिस्तान विरोधी नारे लगवाने के लिए पीटा, आरोपी गिरफ़्तार

दिल्ली में एक शख्स की इसलिए बेरहमी से पिटाई कर दी गई ताकि वह 'पाकिस्तान मुर्दाबाद' के नारे लगाए। इसका वीडियो वायरल हुआ है। उसमें देखा जा सकता है कि एक युवक दूसरे आरोपी की पिटाई कर रहा है और उसे यह कहते सुना जा सकता है कि वह 'हिंदुस्तान ज़िंदाबाद' और 'पाकिस्तान मुर्दाबाद' जैसे नारे लगाए। तीसरा युवक इस घटना का वीडियो बना रहा है। इसी वीडियो के आधार पर पुलिस ने कार्रवाई की है और पिटाई करने के आरोपी को गिरफ़्तार किया है। आरोपी कथित तौर पर दिल्ली दंगे में शामिल था।

पुलिस के अनुसार, घटना उत्तर पूर्वी दिल्ली के खजूरी खास क्षेत्र की है। पुलिस ने इस घटना का संज्ञान लिया है। उत्तर पूर्वी दिल्ली डीसीपी ने इस घटना को लेकर ट्वीट किया है। 

पुलिस ने कहा है, 'खजूरी खास की घटना का एक वीडियो सोशल मीडिया पर चल रहा है। घटना का संज्ञान लिया गया है और आपराधिक मामला दर्ज किया गया है। आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है और मामले की जाँच जारी है।'

इस वीडियो में दिखता है कि आरोपी अजय गोस्वामी एक आदमी की पिटाई करता है। वह 'हिंदुस्तान ज़िंदाबाद' और 'पाकिस्तान मुर्दाबाद' के नारे लगवाता है। पीड़ित शख्स नारे लगाता है फिर भी उसकी पिटाई की जाती है। 

जब वह पिटाई करने वाले युवक का पैर पकड़ लेता है तो वीडियो में किसी अन्य व्यक्ति की आवाज़ सुनी जा सकती है। संभव है कि वीडियो बनाने वाले की आवाज़ हो। वे उस शख्स से यह भी कहते हैं कि वह 'असदुद्दीन ओवैसी मुर्दाबाद' के नारे लगाए।

पुलिस का कहना है कि वायरल वीडियो के आधार पर बुधवार को खजूरी खास थाने की पुलिस ने 25 वर्षीय अजय गोस्वामी को गिरफ्तार कर लिया है और वीडियो बनाने वाले आरोपी दीपक बेंसला की तलाश कर रही है।

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वीडियो के साथ एक मैसेज भी वायरल हुआ है जिसमें लिखा है कि उत्तर पूर्वी दिल्ली में दंगों के आरोपी ने जानबूझकर दूसरे समुदाय के युवक को पीट रहा है। 'एनडीटीवी' की रिपोर्ट के अनुसार, डीसीपी संजय कुमार सेन ने बताया कि अजय उतर पूर्वी दिल्ली में दंगों में शामिल रहा था। फ़िलहाल वह जमानत पर बाहर था। बता दें कि पिछले साल दिल्ली दंगे में 50 से ज़्यादा लोगों की जानें चली गई थीं। पुलिस के अनुसार पूछताछ में अजय ने बताया कि युवक चोरी के इरादे से उसके डेयरी में घुसा था और इसी वजह से उसकी पिटाई की गई। उसका साथी दीपक ने वीडिया बनाकर वायरल कर दिया। पुलिस ने यह भी कहा है कि जिस युवक की पिटाई की गई उस पर हत्या और लूटपाट के कई मामले दर्ज हैं।

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वैसे, घटना के बारे में जो भी दावे किए जाएँ, लेकिन इससे सवाल तो उठता है चोरी के आरोपी से 'पाकिस्तान मुर्दाबाद' या 'असदुद्दीन ओवैसी मुर्दाबाद' के नारे क्यों लगाए जा रहे थे? क्या ये नारे लगवाने से दोषमुक्त हुआ जा सकता है? 

एक सवाल यह भी उठता है कि नारे लगवाने के साथ ही युवक की पिटाई की गई और फिर इसका वीडियो बनाया गया। वीडियो क्यों बनाया गया? इसका मक़सद क्या यह बताना होगा कि चोरी करने पर ऐसे नारे लगवाए जाएँगे? या फिर यह पूरा घटनाक्रम वह नफरत वाला माहौल है जिसको बनाया गया है। ऐसे नफरत का माहौल किसको फायदा पहुँचाता है?

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क़मर वहीद नक़वी

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