सरकारी एजेन्सी सेंट्रल स्टैटिस्टिकल ऑफ़िस (सीएसओ) ने बीते दिनों इस साल की दूसरी छमाही के लिए जीडीपी वृद्धि दर 4.5 प्रतिशत कर दी थी। अब आरबीआई ने इसका अनुमान 5 प्रतिशत लगाया है।
लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने निर्मला सीतारमण को 'निर्बला' सीतारमण कहा। जवाब में बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने जीडीपी के ही भविष्य में ख़त्म होने की संभावना जताई और कहा कि यह रामायण या महाभारत नहीं है। इकॉनमी पर चल रही बहस के दौरान उठ रहे ग़ैर गंभीर बयानों पर देखिए शीतल के सवाल।
सरकार जो 4.5 प्रतिशत जीडीपी वृद्ध दर के दावे कर रही है, वह भी खोखला है, क्योंकि इसका बड़ा हिस्सा जिस निजी क्षेत्र से आता है, उसकी विकास दर 3.05 प्रतिशत ही है।
देश की आर्थिक स्थिति का हाल इतना बुरा हो चुका है कि अब सरकारी रियायतों और सुधारों का भी असर नहीं पड़ रहा है। ऑटो उद्योग को सरकारी छूट देने के बावजूद बिक्री गिरना जारी है।
आर्थिक बदहाली से परेशान जनता दल युनाइटेड का कहना है कि अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए सरकार मनमोहन सिंह से सलाह ले और सहयोगी दलों से राय मशविरा करे।
जीडीपी के दूसरी तिमाही के नतीजे आ गये हैं। अर्थव्यवस्था की विकास दर कुल 4.5 फ़ीसदी है। मोदी जी के क़रीब छह साल के कार्यकाल की यह सबसे निचली दर है। सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि हम डूब रहे हैं। सत्य हिंदी पर देखिए शीतल के सवाल।
सरकार के मुख्य आर्थिक सलाहकार के. वी. सुब्रमण्यण ने कहा है कि अर्थव्यवस्था की बुनियाद अभी भी मजबूत है। उन्होंने उम्मीद जताई कि जीडीपी वृद्धि दर अगली तिमाही में बढेगी।