loader

जर्मनी से हवाई जहाज़ से लाया जाएगा ऑक्सीजन संयंत्र

ऐसे समय जब ऑक्सीजन की किल्ल़त और इसकी कमी से कोरोना रोगियों के तड़प-तड़प कर मरने की ख़बरें देश के कई कोने से आ रही हैं, सरकार ने जर्मनी से 23 मोबाइल ऑक्सीजन संयंत्र हवाई जहाज़ से लाने का फ़ैसला किया है। इन संयंत्रों को आसानी से कहीं भी लगाया जा सकता है, जिनसे प्रति घंटा 2400 लीटर ऑक्सीजन का उत्पादन किया जा सकता है। 

आर्म्ड फोर्सेस मेडिकल सर्विसेज एएफ़एमएस अपने परिवहन हवाई जहाज़ यानी ट्रांसपोर्ट प्लेन भेज कर ये मोबाइल ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट ले आएगी। ये मोबाइल संयंत्र होंगे यानी इन्हें एक जगह से दूसरी जगह ले जाकर आसानी से लगाया जा सकता है। 

ख़ास ख़बरें

प्रति मिनट 40 लीटर

रक्षा मंत्रालय के प्रमुख प्रवक्ता भारत भूषण बाबू ने पत्रकारों से कहा कि एक हफ़्ते के अंदर सभी ऑक्सीजन संयंत्र भारत पहुँच जाएंगे। इन्हें एएफ़एमएस अपने अस्पतालों में लगाएगी। इन मोबाइल ऑक्सीज संयंत्र की उत्पादन क्षमता प्रति मिनट 40 लीटर यानी प्रति घंटा 2400 लीटर होगी। हर संयंत्र 24 घंटे में 20 से 25 रोगियों की ऑक्सीजन ज़रूरतों को पूरा कर सकता है।

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सेना के अस्पतालों के लिए जर्मनी से मोबाइल संयंत्र आयात करने का एलान बीते सप्ताह ही किया था। तीनों सर्विस प्रमुखों को विशेष वित्तीय अधिकार दिए गए, उसके बाद उन्होंने इन संयंत्रों के आयात के लिए ज़रूरी वित्तीय निर्णय लिए। 

बाबू ने यह भी कहा कि इन संयंत्रों की सबसे बड़ी खूबी यह है कि इन्हें चलाना बहुत ही आसान है। 

AFMS to airlift mobile oxygen plant for corona patients - Satya Hindi

ऑक्सीजन के लिए हाहाकार

एएफएमएस अपने अस्पतालों के लिए ऑक्सीजन संयंत्र का आयात ऐसे समय कर रहा है जब ऑक्सीजन के लिए कई राज्यों में हाहाकार मचा है। कर्नाटक से लेकर दिल्ली के अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी है। कई अस्पतालों में सिर्फ़ कुछ घंटों के लिए ऑक्सीजन बची है। हाई कोर्टों में मामला पहुँचा और फिर सुप्रीम कोर्ट ने भी दखल दे दिया। इस पूरी अव्यवस्था के केंद्र में केंद्र सरकार तो है ही।

कई जगहों पर ऑक्सीजन की सप्लाई रोके जाने तक की ख़बरें आईं। एक समय तो दिल्ली, हरियाणा और उत्तर प्रदेश के बीच में विवाद भी हो गया। यह विवाद कितना बड़ा संकट बनता जा रहा था इसका अंदाज़ा इससे लगाया जा सकता है कि केंद्र सरकार को आदेश जारी करना पड़ा कि ऑक्सीजन परिवहर को कोई रोक नहीं सकता है। दिल्ली हाई कोर्ट ने तो कहा कि ऑक्सीजन की सप्लाई रोके जाने पर आपराधिक कार्रवाई की जाएगी। 

बढ़ता कोरोना संक्रमण

दूसरी ओर, कोरोना संक्रमितों की तादाद रोज़ बढ़ रही है और देश अभूतपूर्व संकट की ओर बढ़ रहा है। स्वास्थ्य विभाग के गुरुवार के आँकड़े बताते हैं 24 घंटे में 3 लाख 32 हज़ार 730 पॉजिटिव केस दर्ज किए गए हैं। इस दौरान 2263 लोगों की मौत हुई। एक दिन में यह आँकड़ा सबसे ज़्यादा है।

यह लगातार दूसरा दिन है जब तीन लाख से ज़्यादा संक्रमण के मामले आए हैं। एक दिन पहले बुधवार को 24 घंटे में 3 लाख 14 हज़ार 835 पॉजिटिव केस आए थे और 2104 लोगों की मौत हुई थी।

स्वास्थ्य विभाग के अनुसार देश में अब तक कुल मिलाकर 1 करोड़ 62 लाख 63 हज़ार से ज़्यादा संक्रमण के मामले आए हैं। 1 करोड़ 36 लाख से ज़्यादा मरीज़ ठीक हो चुके हैं। मरने वालों की कुल संख्या 1 लाख 86 हज़ार 920 हो गई है। देश में अब सक्रिए मामलों की संख्या 24 लाख 28 हज़ार से ज़्यादा हो गई है।

सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी

अपनी राय बतायें

देश से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें