सचिव का तबादला
उसी समय गृह मंत्रालय ने हस्तक्षेप किया और कहा कि क़ानून व्यवस्था उसके विभाग में है। जिस मुख्य सचिव ने पूरा फ़ार्मूला ही तैयार किया था, उसका तबादला कर दिया गया। उन्हें सामाजिक न्याय विभाग भेज दिया गया। इस तरह मानव संसाधन विभाग के मंत्री की बात भी वाइस चांसलर ने नहीं सुनी।फ़ीस बढ़ाने के मुद्दे पर अकादमिक परिषद की बैठक में भी वह नहीं गए थे। वाइस चांसलर का वहाँ होना आवश्यक था, पर वह उसमें नहीं थे। हॉस्टल फ़ीस बढ़ाने पर एग़्जक्यूटिव कौंसिल की बैठक विश्वविद्यालय परिसर से 18 किलोमीटर दूर रखा गया था।
वीसी के काम करने का तरीका!
सभी हॉस्टल के प्रतिनिधियों की इंटर-हॉल एडमिनिस्ट्रेशन की बैठक हुई तो लोगों को सिर्फ़ 30 मिनट पहले इसकी जानकारी दी गई। पीएच डी स्कॉलर सौरभ वाडे ने इंडियन एक्सप्रेस को इसकी जानकारी देते हुए कहा कि जब तक वह वहाँ पहुँचते, फ़ीस बढ़ाने के प्रस्ताव पर दस्तख़त हो चुके थे। वाडे कहते हैं कि यह तो एक बानगी भर है। यह वाइस चांसलर के काम करने के तरीके को बताता है।“
अगस्त 2019 को वाइस चांसलर के पद पर बने रहने के मुद्दे पर एक जनमत संग्रह कराया था। इसमें सिर्फ़ 8 लोगों ने कहा था कि जगदीश कुमार को पद पर बने रहना चाहिए, 279 शिक्षकों ने कहा था कि वे इस पद के लायक नहीं हैं।
डी. के. लोबियाल, अध्यक्ष, जेएनयू टीचर्स एसोसिएशन
एबीवीपी को भी दिक्क़त
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के राधाकृष्णन यादव ने इंडियन एक्सप्रेस से कहा कि एबीवीपी के लोग भी जगदीश कुमार से खुश नहीं हैं। उन्होंने कहा, उनकी सबसे बड़ी समस्या यह है कि वह छात्रों से कोई बात करना ही चाहते हैं। इस वजह से हम उनसे संपर्क नहीं कर पाते हैं, न ही परिसर से जुड़ा कोई मुद्दा उठा पाते हैं।जगदीश कुमार की कार्यशैली का अनुमान इससे लगाया जा सकता है कि उन्होंने कुछ दिनों पहले कहा था कि विश्वविद्यालय को कुछ समय के लिए बंद कर देना चाहिए, जब स्थिति सामान्य हो जाए, तो फिर उसे खोल दिया जाए।
मनमर्जी से करेंगे काम?
सवाल यह उठता है कि आख़िर यह कैसे मुमकिन है कि कोई आदमी अपनी मर्ज़ी से देश का शीर्ष शैक्षणिक संस्थान चलाएँ? यह कैसे मुमकिन है कि वाइस चांसलर मानव संसाधन मंत्र की बातों को भी इनकार कर दे और उनके सुझाए फ़ॉर्मूले को सिरे से खारिज कर दे और वह भी तब इस पर आम सहमति बन गई हो?वह कौन व्यक्ति है, जिसके इशारे पर मानव संसाधन विभाग के मुख्य सचिव, जिसने समझौता फ़ॉर्मूला तैयार किया था, उसका तबादला कर दिया?
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